divyabhaskar network | Mar 19, 2014, 11:48AM IST
ये शब्द गुजरात के नवसारी जिले के एक प्रोफेसर द्वारा केजरीवाल को लिखे गए पत्र के हैं। उन्होंने हाल ही में केजरीवाल को पत्र लिखा है, जो इन दिनों पूरे गुजरात में चर्चा का विषय बना हुआ है। दरअसल ये प्रोफसर भी उसी कॉलेज से हैं, जहां से अरविंद केजरीवाल पढ़ाई कर चुके हैं।
रविवार को बेंगलुरु में आयोजित रैली में आम आदमी पार्टी (आप) के नेता अरविंद केजरीवाल ने कहा था कि गुजरात में विकास के दावे झूठे हैं। पैसों के दम पर मीडिया द्वारा सिर्फ इसका प्रचार करवाया जा रहा है। गुजरात में भ्रष्टाचारियों का बोलबाला है। वहां पैसे दिए बगैर कोई काम नहीं होता।
केजरीवाल के इसी बयान के बाद नवसारी (गुजरात) के एग्रीकल्चर यूनिवर्सिटी के प्रोफसर विपुल शिंदे ने केजरीवाल को पत्र लिखा है। विपुल गुजरात में पिछले एक साल से रह रहे हैं। उन्होंने केजरीवाल को वही बताया है, जो उन्होंने अब तक गुजरात में देखा है। दरअसल शिंदे भी आईआईटी खडगपुर के छात्र रह चुके हैं। केजरीवाल भी इसी यूनिवर्सिटी से हैं।
शिंदे ने पत्र में यह भी लिखा है कि ‘लगभग दो साल पहले जनलोकपाल आंदोलन में मैंने सक्रिय कार्यकर्ता के रूप में कार्य किया था। कुछ समय पहले तक मैं आपका बहुत बड़ा फैन था, लेकिन मुझे लगता है कि बेंगलुरु की रैली के दौरान आपने जो बातें कहीं, वह आपको स्पष्ट कर देनी चाहिए।’
- मैं गुजरात सरकार का क्लास-2 का अधिकारी हूं और मैंने इस नौकरी के लिए एक भी रुपए की रिश्वत नहीं दी।
- मुझे प्रतिमाह पहली तारीख को ही पूरी तनख्वाह मिल जाती है।
- मैं जहां रहता हूं, वह गुजरात का पिछड़ा इलाका कहा जाता है, लेकिन यहां कभी बिजली नहीं जाती।
- मैं अब तक देश के कई राज्यों में घूम चुका हूं, लेकिन गुजरात जैसी सड़की मैंने आज तक कहीं नहीं देखीं।
- मैं आपसे एक सवाल करना चाहता हूं कि आपने गुजरात का कौन सा ऐसा इलाका देखा, जहां आपको विकास दिखाई नहीं दिया।
- पुणे की तुलना में आज गुजरात के वघई गांव में वाई-फाई की स्पीड अधिक है, यह मेरा अपना अनुभव है।
सवाल : आपको यह पत्र क्यों लिखना पड़ा?
जवाब : यह मेरी व्यक्तिगत राय है। मैं किसी पर आरोप नहीं लगा रहा।
सवाल : पत्र लिखने का विचार क्यों आया?
जवाब : मैंने बेंगलुरु में आयोजित रैली में केजरीवाल का पूरा भाषण सुना। लेकिन गुजरात के बारे में कही गई उनकी बात सरासर झूठी थी। इसलिए मुझे लगा कि उन्हें जवाब देना ही चाहिए।
सवाल : आप कबसे गुजरात में हैं?
जवाब : मैं पिछले एक साल से नवसारी जिले के वघई गांव में नौकरी कर रहा हूं।
सवाल : गुजरात में आपने कौन-कौन सी जगहें देखी हैं?
जवाब : मैंने वघई गांव के अलावा सौराष्ट्र का जूनागढ़ भी देखा है।
सवाल : आप कहां के रहने वाले हैं?
जवाब : मैं मूल पुणे के सतारा से हूं।
कौन हैं विपुल शिंदे?
नाम : विपुल तानाजी शिंदे
शिक्षा : सन् 2007 में महाराष्ट्र के केकेवी डपोली इंस्टीट्यूट से
एग्रीकल्चर इंजीनियरिंग में बी-टेक किया। 2009 में आईआईटी खडगपुर से वॉटर
रिसोर्स डव्हलपमेंट एंड मैनेजमेंट में एम-टेक किया। अब लैंड एंड वॉटर
रिसोर्सीज इंजीनियरिंग में पीएचडी कर रहे हैं।
- शिंदे ने 2001 में महाराष्ट्र स्टेट लेवल अंडर-19 हॉकी टूर्नामेंट का रिप्रेजेंटेशन किया है।
- जिला लेवल पर अंडर-17 हॉकी में रनर-अप रह चुके हैं।
- 2006 के एनसीसी युनिट की वार्षिक ट्रेनिंग में ब्रांज मैडल जीत चुके हैं।
- एनसीसी से बी और सी सर्टिफिकेट प्राप्त।
लेटर पर छिड़ी बहस...
विपुल शिंदे ने केजरीवाल को पत्र भेजने के अलावा इसे अपने फेसबुक अकाउंट पर भी शेयर किया है। जो इन दिनों पूरे गुजरात में चर्चा का विषय बना हुआ है। इतना ही नहीं, उनके फेसबुक अकाउंट पर भी गुजरात के विकास को लेकर लंबी बहस छिड़ गई है।
विपुल शिंदे ने केजरीवाल को पत्र भेजने के अलावा इसे अपने फेसबुक अकाउंट पर भी शेयर किया है। जो इन दिनों पूरे गुजरात में चर्चा का विषय बना हुआ है। इतना ही नहीं, उनके फेसबुक अकाउंट पर भी गुजरात के विकास को लेकर लंबी बहस छिड़ गई है।
Source: http://www.bhaskar.com/article/GUJ-SUR-letter-to-kejriwal-by-agriculture-professor-4553294-PHO.html?seq=1
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